आयकर विभाग ने बजरंग बली को थमाया दो करोड़ का नोटिस, इंदौर के रणजीत हनुमान मंदिर नोटबंदी के समय 26 लाख बैंक में जमा कराए जिसकी पेनल्टी हो गई इतनी
बाईट -दीपेश व्याप, पुजारी
इंदौर – प्राचीन रणजीत हनुमान मंदिर को आयकर विभाग द्वारा दो करोड़ रुपए जमा कराने का नोटिस मिला है। पीएम नरेंद्र मोदी ने 8 नवंबर 2016 को नोटबंंदी की थी। इसी दौरान रणजीत हनुमान मंदिर की दान पेटियों से 26 लाख से अधिक की राशि मिली थी, जिसे मंदिर प्रबंधन ने मंदिर के नाम पर खुले बैंक खाते में जमा करा दिया।इतनी राशि एक साथ जमा होने के चलते कम्प्यूटर की रेंडम स्क्रूटनी ने मामला संदिग्ध मानते हुए पकड़ लिया और यह जांच के लिए संबंधित इनकम टैक्स ऑफिसर के पास आ गया। उन्होंने पूरे साल 2016-17 की मंदिर की आय निकाली तो इस दौरान करीब सवा दो करोड़ रुपए की राशि मंदिर को दान में मिली थी। मंंदिर का ट्रस्ट और आयकर एक्ट की धारा में पंजीबद्ध नहीं होने के चलते इस पूरी आय पर नए आयकर नियम के तहत 77 फीसदी टैक्स और पेनल्टी लगकर करीब दो करोड़ रुपए की टैक्स डिमांड निकल गई। आयकर विभाग ने टैक्स डिमांड निकालने से पहले मंदिर प्रबंधन को पत्र भी भेजे, लेकिन मंदिर में यह पत्र दबा रह गया और इसकी जानकारी मंदिर प्रशासक व एसडीएम रवि कुमार सिंह को नहीं मिली। जब उन्हें टैक्स डिमांड संबंंधी नोटिस मिला तो पता चला कि आयकर विभाग ने इस तरह की कार्रवाई की है। वह तत्काल आयकर विभाग के अधिकारियों से मिले और उन्हें बताया कि मंदिर सरकारी जमीन पर बना है और यह प्रशासन के अंतर्गत है, इसलिए रजिस्टर्ड होना जरूरी नहीं है और टैक्स की जिम्मेदारी नहीं आती है, लेकिन टैक्स डिमांड निकल जाने के चलते तकनीकी कारणों से बात नहीं बनी। आयकर विभाग का तर्क है कि खजराना मंदिर की तरह रणजीत हनुमान मंदिर एक्ट से संचालित नहीं है और न ही आयकर की छूट की धारा के तहत रजिस्टर्ड है।अतः इसके तहत इनकम टैक्स विभाग ने रणजीत हनुमान मंदिर को नोटिस जारी कर दिया ,वही मन्दिर सालो पुराना है और एक महीने में मन्दिर में लाखो रुपये दान के रूप में आते है।