दिल्ली एनसीआर की तरह बनेगा स्टेट केपिटल रीजन भोपाल और इंदौर मेट्रोपॉलिटन रीजन नगरीय प्रशासन एवं विकास विभाग का बनेगा नया कैडर
भोपाल : 21 जुलाई, 2019 / विधानसभा में नगरीय विकास एवं आवास मंत्री श्री जयवर्द्धन सिंह का वक्तव्य नगरीय विकास एवं आवास मंत्री श्री जयवर्द्धन सिंह ने विधानसभा में विभागीय बजट की अनुदान माँगों पर हुई चर्चा का जवाब देते हुए कहा कि दिल्ली एनसीआर की तरह पहला स्टेट केपिटल रीजन भोपाल और दूसरा इंदौर मेट्रोपॉलिटन रीजन बनाया जायेगा। स्टेट केपिटल रीजन में ओबेदुल्लागंज, मण्डीदीप, सीहोर और श्यामपुर भी शामिल होगा। इंदौर मेट्रापॉलिटन रीजन में उज्जैन और पीथमपुर भी शामिल होंगे। मेट्रो के संबंध में दो दिन के अंदर एमओयू साईन करेंगे। उन्होंने बताया कि भोपाल मेट्रो को सीहोर और ओबेदुल्लागंज तक तथा इंदौर मेट्रो को उज्जैन तक बढ़ाने पर विचार किया जा रहा है। श्री सिंह ने कहा कि नगरीय प्रशासन एवं विकास विभाग का नया कैडर बनाया जायेगा। नगरीय निकाय के स्टॉफ के प्रशिक्षण के लिये सेंटर फॉर अर्बन डेव्हलपमेंट इंस्टीटयूट स्थापित किया गया है।
श्री सिंह ने कहा कि स्मार्ट सिटी सागर और ग्वालियर में 100-100 करोड़ के कार्यों के टेंडर हो चुके हैं। स्वच्छ भारत अभियान में क्लस्टर लेवल पर कचरा कलेक्शन की प्रक्रिया खत्म कर दी गई है। कचरा कलेक्शन का इंदौर मॉडल सभी शहरों में लागू किया जायेगा। ई-व्हीकल प्रोजेक्ट लाया जायेगा। नगर बस सेवा की डीजल से संचालित सभी बसों को ई-व्हीकल से रिप्लेस किया जायेगा। बीआरटीएस का परीक्षण दिल्ली के वैज्ञानिकों द्वारा किया जा रहा है। तीन माह में रिपोर्ट मिलने के बाद जरूरी कार्यवाही की जायेगी। सूत्र सेवा के अंतर्गत राज्य के अंदर और राज्य के बाहर सेवा शुरू की जायेगी। महिलाओं को ई-रिक्शा के लिये 2 लाख रूपये का अनुदान दिया जायेगा।
सफाईकर्मियों को मृत्यु पर मिलेंगे 20 लाख रूपये।
श्री जयवर्द्धन सिंह ने बताया कि स्वच्छता अभियान में बेहतर कार्य करने पर सफाईकर्मियों को 5-5 हजार रूपये का पुरस्कार दिया गया था। उन्होंने बताया कि अब सफाईकर्मियों की मृत्यु पर परिजन को 20 लाख रूपये दिये जायेंगे।
श्री सिंह ने बताया कि मुख्यमंत्री युवा स्वाभिमान योजना में डेढ़ सौ करोड़ रूपये का बजट रखा गया है। दीनदयाल रसोई योजना को नये रूप में लागू किया जायेगा। उन्होंने बताया कि पिछली सरकार ने इसका बजट 7 करोड़ से घटाकर 3 करोड़ कर दिया था। उन्होंने बताया कि इंदौर, ग्वालियर, भोपाल और जबलपुर सहित अन्य शहरों में जरूरत के अनुसार नये फ्लायओवर बनाये जायेंगे। श्री सिंह ने बताया कि अवैध कालोनियों को वैध करने की योजना वर्ष 1998 में बनाई गई थी। अवैध कालोनी को वैध करने काम प्राथमिकता से किया जायेगा। बेसहारा गौ-माता, स्ट्रीट डॉग और स्ट्रीट पिग के लिये शेल्टर होम बनाये जायेंगे। नगरों के नजदीक स्थित 11 गौ-शालाओं के साथ गौ-माता को रखने के लिये एमओयू किया गया है।
प्रदेश के सभी 378 नगरीय निकाय की वाटर ऑडिट करवाकर पानी की समस्या चिन्हित की जायेगी। उन्होंने कहा कि हमारा लक्ष्य सभी नगरों में नागरिकों को प्रतिदिन पानी उपलब्ध करवाना है। उन्होंने बताया कि मुख्यमंत्री श्री कमल नाथ जब केन्द्रीय शहरी विकास मंत्री थे, तब उन्होंने जेएनएनयूआरएम योजना में एक साल में 5500 करोड़ रूपये मध्यप्रदेश को दिये थे।
श्री सिंह ने बताया कि प्रधानमंत्री आवास योजना में 61 हजार नये आवास स्वीकृत किये गये हैं। इनकी प्रथम, द्वितीय और तृतीय किश्त जारी की जा चुकी है। एफोर्डेवल हाउसिंग स्कीम में पिछली सरकार ने एक लाख 40 हजार आवास स्वीकृत किये थे, जिनमें से मात्र 12 हजार बने। योजना में हितग्राही अपना शेयर 2 लाख रूपये नहीं दे पा रहे हैं। अब योजना में परिवर्तन कर हितग्राही को लोन दिलवाया जायेगा। उन्होंने बताया कि शहरों में आवासहीनों को आवासीय पट्टे दिये जायेंगे। फिर पक्के आवास भी स्वीकृत किये जायेंगे।
मंत्री श्री सिंह ने बताया कि मैरिज सर्टिफिकेट सहित अन्य जरूरी सर्टिफिकेट 24 घण्टे में देने का पायलट प्रोजेक्ट इंदौर में शुरू किया जा रहा है। सफल होने पर इसे पूरे प्रदेश में लागू किया जायेगा। अस्पताल के साथ साफ-सफाई एवं अन्य कार्य के लिये नगरीय निकाय एमओयू करेंगे। उन्होंने बताया कि 30 शहरों में पाइप लाइन से रसोई गैस की सप्लाई की जायेगी। नदी और तालाब संरक्षण के लिये 30 करोड़ रूपये का प्रावधान किया गया है। विधायक विश्राम गृह के लिये 25 करोड़ रूपये स्वीकृत किये गये हैं।
मंत्री श्री जयवर्द्धन सिंह के जवाब के बाद सदन ने बाद सदन ने उनके विभाग से संबंधित 15845 करोड़ 3 लाख 77 हजार रूपये की अनुदान माँगों को ध्वनिमत से पारित कर दिया।